आपको मालूम होगा कि शनिवार 19 सितंबर 2021 को सायं देश के गृहमंत्री अमित शाह जी आचार्य विद्यासागरजी से आशीर्वाद लेने जबलपुर में तिलवारा घाट के दयोदय तीर्थ पहुंचे। उन्होंने 40 मिनट तक अकेले में चार संतों की उपस्थिति में राष्ट्र की समृद्धि, शिक्षा नीति, राष्ट्रभाषा हिंदी के विकास आदि कुछ चुने हुए विषयों पर चर्चा की और आशीर्वाद प्राप्त किया। उनके साथ म.प्र. के मुख्यमंत्री शिवराज चौहान, भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष बीडी शर्मा आदि भी वहां गये।
गृहमंत्री ने अपनी आशीर्वाद की फोटो अपनी फेसबुक पर पोस्ट की, यह लिखते हुए कि ‘जनकल्याण के प्रति समर्पित आपका सादगीपूर्ण व तपस्वी जीवन हमें और तन्मयता से राष्ट्र सेवा के लिये प्रेरित करता है।’
इस पोस्ट पर कई अज्ञानियों ने जैन धर्म व आचार्य श्री के प्रति बेहूदा, शर्मसार टिप्पणियां कीं, जिनका जन समाज घोर विरोध करता है
और दूसरी तरफ यह संकेत भी करता है कि हम लोग अपने जैन धर्म के प्रति गंभीर नहीं, उसको वर्तमान में चलाने वाले संतों का कोई भी अपमान करता रहे, हमारे कानों पर जू नहीं रेंगती।
वैसे अधिकांश ने आचार्य श्री के तप को नमन भी किया, पर अनादर क्यों? क्या किसी और का भी ऐसे कर सकते हैं, कभी नहीं!