6 मार्च/फाल्गुन शुक्ल चतुर्थी/चैनल महालक्ष्मीऔर सांध्य महालक्ष्मी/
मद्रास हाई कोर्ट ने कहा है कि मंदिरों की पवित्रता बनाए रखने के लिए श्रद्धालुओं से अपेक्षा की जाती है कि वे उचित पोशाक पहनकर ही मंदिर में प्रवेश करें। कोर्ट ने कहा, जिन मंदिरों में ड्रेस कोड है वे साइन बोर्ड लगाकर इसकी जानकारी दें। चीफ जस्टिस मुनीश्वर नाथ भंडारी की पीठ ने कहा, अदालत अपनी राय समाज पर नहीं थोप सकती।
यह श्रद्धालुओं को समझना चाहिए कि वे पूजास्थल में प्रवेश कर रहे हैं और यदि वहां परंपरा के अनुसार कोई परिधान है तो वही पहनें। कोर्ट रंगराजन नरसिम्हन की याचिका पर सुनवाई कर रहा था।
इसमें मंदिरों में ड्रेस कोड अनिवार्य करने का निर्देश देने का आग्रह किया गया था तथा पुरुषों के लिए धोती-कुर्ता, महिलाओं के लिए साड़ी या सलवार कमीज और माथे पर सनातन धर्म के चिह्न अनिवार्य करते हुए मंदिरों पर साइन बोर्ड लगाने की मांग की थी।