मुनि श्री विश्वलोचन सागर जी का स्वास्थ्य खराब- पर अपनी चर्या और क्रिया में किसी भी प्रकार का दोष नहीं लगने दिया- सिद्ध क्षेत्र सोनागिर में समता पूर्वक समाधि

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30 मार्च 2022//चैत्र कृष्णा त्रियोदशी /चैनल महालक्ष्मीऔर सांध्य महालक्ष्मी/
भारत गौरव बुंदेलखंड के प्रथमाचार्य गणाचार्य श्री विराग सागर जी महाराज के ज्येष्ठ एवं श्रेष्ठ परम पूज्य चर्या शिरोमणि आज्ञाकारी शिष्य श्रमण मुनि श्री 108 विश्वलोचन सागर जी का सिद्ध क्षेत्र सोनागिर में समाधि समता पूर्वक मरण हो गया है। पूज्य मुनि श्री की समाधि के समय निर्यापकाचार्य श्री विवेक सागर जी महाराज ससंघ एवं पूज्य मुनि विनय सागर जी महाराज ससंघ एवं गणनी आर्यिका विभा श्री माताजी ससंघ एवं चर्तुविद ससंघ सानिध्य हुई ।।

अभी कुछ समय से पूज्य मुनि श्री का स्वास्थ्य खराब हो गया था फिर भी पूज्य मुनि श्री ने अपनी चर्या का निरातिरचार पालन किया उन्होंने अपनी चर्या और क्रिया में किसी भी प्रकार का दोष नहीं लगने दिया एवं अपने दीक्षा गुरु पूज्य आचार्य श्री विराग सागर जी महाराज के निर्देश में क्षेत्र में पर विराजमान ससंघ साधुओं के अनुसार रहकर अपना कल्याण किया है।

धन्य ऐसे साधक जो जिन्होन अपनी शरीर की प्रतिकूलता को भी अनुकूलता में बदल दिया ।।

अंकित जैन 9806726376,9993387880