क्या हैं सबसे ज्यादा संक्रामक ओमिक्रॉन वैरिएंट के लक्षण और ओमिक्रॉन वैरिएंट से बचने के लिए क्या रखें सावधानी

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कोरोनावायरस के नए वैरिएंट ओमिक्रॉन नेअब भारत में भी दस्तक दे दी है. कर्नाटक में ओमिक्रॉन से दो मरीज संक्रमित पाए गए हैं.

ओमिक्रॉन को कोरोना वायरस के सभी वैरियंट्स में सबसे ज्यादा संक्रामक बताया जा रहा है. ओमिक्रॉन को लेकर जुटाए गए शुरुआती डेटा के मुताबिक,

ओमिक्रॉन वैरिएंट से संक्रमित मरीजों को बहुत अधिक थकान, गले में खराश, मांशपेशियों में दर्द जैसी समस्याएं आती हैं.

इस वैरिएंट के लक्षण डेल्टा वैरिएंट सेअलग हैं. ओमिक्रॉन से संक्रमित व्यक्ति के स्वाद और गंध की क्षमता में कोई बदलाव नहीं देखा गया है.

ओमिक्रॉन का पता लगाने वाली दक्षिण अफ्रीका की डॉक्टर ने बताया कि फिलहाल मरीजों में हल्के लक्षण ही देखे जा रहे हैं.

इस वैरिएंट से संक्रमित लोग गंभीर रूप से बीमार नहीं पड़े हैं.

प्रारंभिक साक्ष्य इस बात की संभावना को बढ़ाते हैं कि इस वैरिएंट में ऐसे म्यूटेशन हैं जो इम्यून सिस्टम रिस्पॉन्स से बच सकते हैं और एक से दूसरे व्यक्ति में इसे फैलाने की क्षमता को बढ़ा सकते हैं.

इन म्यूटेशन के आधार पर कहा जा सकता है कि इसकी वजह से भविष्य में COVID-19 के मामलों में उछाल आ सकता है. WHO ने ये भी कहा है कि शुरुआती डेटा से ऐसे संकेत मिल रहे हैं कि कोविड से संक्रमित हुए व्यक्ति भी इसकी चपेट में आ सकते हैं.

ओमिक्रॉन वैरिएंट से बचने के लिए रखें ये सावधानी-

ओमिक्रोन वैरिएंट से बचने के लिए अपना कोविड-19 की दोनों डोज जरूर लें.

सामाजिक दूरी का पालन करें और नियमित अंतराल पर हैंड सैनिटाइजर का इस्तेमाल करें.

सार्वजनिक जगहों पर जाने से पहले मास्क का प्रयोग करें. जरूरी न हो तो यात्रा करने से बचें.

भीड़ वाले इलाकों में जाने से बचें.

नियमित अंतराल पर हाथों को अच्छे से धोएं.

अगर आपको ओमिक्रोन वैरिएंट का कोई भी लक्षण नजर आए तो कोविड नियमों का पहले करते हुए तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें.

इसके अलावा, कुछ खास बातों को भी ध्यान रखने की आवश्यकता है.

घर या ऑफिस के अंदर पर्याप्त वेंटीलेशन होना जरूरी है.

वायरस के ट्रांसमिशन की चेन तोड़ने के लिए वैरिएंट से संक्रमितों और उनके संपर्क में आए लोगों की पहचान करना भी बहुत जरूरी है