26 जून 2022/ आषाढ़ कृष्ण त्रियोदिशि /चैनल महालक्ष्मी और सांध्य महालक्ष्मी/
पिछले दो-तीन माह में लव जिहाद के पांच किस्से आये थे जिनमें कि जैन लड़कियां मुल्लों के साथ फंस गई थीं। इन सब घटनाओं में आखिरी में क्या हुआ, इसका अपडेट रखने का हमारा भी इंट्रेस्ट अब खत्म हो चला है।..क्या फायदा? ..
अब एक ताजी घटना की बात करते हैं जो कि जयपुर में घटी। बात वहां के खातीपुरा एरिया की है। एक पढी लिखी और होशियार ३०-३१ साल की जैन युवती वहां से रेडीमेड गारमेंट्स का ऑनलाइन बिजनेस करती थी। काम ठीक सा ही चल रहा था।.. अब जो युवतियां पढ़ी लिखी हों, होशियार हों और वे सोशल मीडिया पर तांक-झांक न करें, ये कैसे हो सकता है?
बस तो इस घटना की हीरोइन भी यही करने लगीं। उसे दो साल पहले फेसबुक पर घूम रहे तमाम लड़कों में से एक युवक अच्छा लगा। मीठी बातें करने वाला..तारीफ करने वाला। और नाम? युवक ने बताया कि राहुल जैन।
अब तो सोने में सुहागा था।..दोस्ती के लिये और क्या चाहिए?
..बस दोनों में दोस्ती हो गई। मैसेजों से आगे बढ़कर मोबाइल नंबर एक्सचेंज हुए और बातें होने लगीं..। इसके बाद,जैसे कि होता है वैसा हुआ, राहुल जैन जी ‘किसी काम से’ जयपुर आ धमके और हमारी हीरोइन से मिलने का समय मांगा। दोनों मिले। फिर राहुल ने नया पांसा फेंका..
कि वह कुछ समय जयपुर में ही रहकर हीरोइन के बिजनेस में हाथ बंटाकर धंधे को काफी ऊंचाई पर ले जायेगा।.. हीरोइन को भला क्या ऐतराज़ होता? एक से भले दो।..काम चलता रहा और दोस्ती जल्दी ही प्यार में बदल गई।
इश्क बढ़ता गया और राहुल पांसे फैंकता रहा। ..उसने कहा कि जब शादी के बाद सारी जिंदगी ही साथ रहना है तो अभी क्यों दूर रहें?..बस,दोनों बिंदास हो अब साथ रहने लगे। बिना शादी के इस तरह के अवैध रहने को कहते हैं- “लिव-इन-रिलेशनशिप” (Live- in- Relationship).
अब वो क्या है कि कोई शब्द अंग्रेजी में कहा जाये तो कल्चर्ड लगता है और हिंदी में कहा जाये तो सड़ांध आती है। जैसे कि किसी से हिंदी में पूंछो कि -क्या “जानवरों का मांस” खाते हो? तो वह ऐसे घूरेगा कि जैसे कि अभी पूंछने वाले को ही खा जायेगा। अगर यह पूंछो कि”नान-वेज” लेते हो? तो वह गर्व से “हां” बोलेगा। एक और उदाहरण है- हिंदी में बोले गये “पाखाना” या “संडास” की बदबू और अंग्रेजी में बोले गये “लेट्रिन” या “वाशरूम” का गर्व।.. कितना अंतर है?..
हां! तो अब वापिस आते हैं हम अपने जयपुर के किस्से पर।
बड़े शहरों में एक बात तो है कि कौन किसके साथ रहता है, जोड़ा है- कुजोड़ा है, कौन क्या करता है, इस पचड़े में भी नोरमली लोग नहीं पड़ते हैं। सो हमारे हीरो-हीरोइन को भी ” लिव-इन-रिलेशनशिप” में रहने में कोई मुश्किल नहीं हुई।
फिर अब अपनी शादी तो होना ही है.. कहकर तथाकथित राहुल ने कई दर्जन बार युवती के साथ शारीरिक संबंध बनाए। युवक चालाकी पूर्वक अपनी असली पहचान- नाम, जाति एवं धर्म छिपाकर राहुल जैन बना रहा और उसके प्रेम जाल में फंसी हमारी हीरोइन को 2 साल तक लिव-इन- रिलेशनशिप में रहने पर भी राहुल जैन की सच्चाई पता नहीं चला सकी।.. गजबै है। फिर शादी का दबाव दिये जाने पर, कुछ सप्ताह पहले राहुल हमारी हीरोइन को लेकर अपने घर मेरठ ले गया।
अब यहां पर कहानी में ट्विस्ट आया है।..
वहां पर पंहुचने के बाद हीरोइन को पता चला कि जिस युवक के साथ वह “लिव-इन- रिलेशनशिप” में रह रही थी, वह न तो जैन है और न ही राहुल.. वह तो मियां अब्दुल वसीम है। यह पता चलते ही हमारी हीरोइन के पैरों तले जमीन खिसक गई। हाथों के तोते उड़ गये..उसकी सारी होशियारी छूमंतर हो गई। दिमाग सुन्न हो गया उसका।.. फिर
जब उसने इस तरह से धोखा देने की वजह पूंछी, तब अब्दुल ने उसे छुरा दिखाकर जान से मारने की धमकी दी। युवती ने वहां से भागने की भी कोशिश की, पर वह कैसे संभव था? उसे तो वहां बंधक बना लिया गया था।
काफिरों के माल पर – उनके धन पर, उनकी औरतों पर- माल्कियत तो हलाल है।..उनकी किताब में लिखा है, सो अब्दुल का भाई कैसे पीछे रहता? उसने भी युवती के साथ दुष्कर्म करने की बड़ी कोशिश की।..यह समाचार तो हम अक्सर पढ़ते रहते हैं कि इस तरह से धोखे में फंसकर काफिर युवतियों की क्या-क्या दुर्गति नहीं होती है?..सास भी पीछे नहीं होती है और वह भी काफिर लड़की से ‘धंधा’ कराने के लिये ग्राहक ढूंढ कर लाती है।..अक्सर उनको वेश्यावृत्ति के धंधे की काल कोठरी में विदेशों में धकेल दिया जाता है।..
खैर जो भी हो, हमारी हीरोइन की किस्मत कुछ तो अच्छी थी जो कि इस ख़तरनाक चंगुल से वह किसी तरह अपनी जान बचा सकी व कैद से मुक्त होकर मेरठ से जयपुर वापिस आ सकी।..
रोना-धोना खत्म होने पर युवती हिम्मत जुटाकर वैशाली नगर थाने में पहुंची और अपनी आपबीती सुनाकर 12 जून 2022 को अब्दुल के खिलाफ धोखाधड़ी व दुष्कर्म का केस दर्ज कराया। जयपुर पुलिस ने इस घटना का संज्ञान लेकर अपनी टीम मेरठ भेजकर आरोपी शैतान अब्दुल वसीम को गिरफ्तार कर लिया है। अब..
जब चिड़िया चुग गई खेत तो अब क्या?
यह कोई नई घटना तो है नहीं..मुस्लिम लड़के पहले भी कई बार जैन युवक बनकर कई लड़कियों के साथ धोखेबाज़ी कर चुके हैं।
इस घटना से तमाम प्रश्न खड़े हुये हैं।…मेरे दिमाग में भी, और आपके दिमाग में भी। मैं उन प्रश्नों पर अभी कोई चर्चा नहीं कर रहा हूं।.. हो सके तो आप भी उन प्रश्नों के उत्तर खोजिये।
इस घटना को लिखने का मेरा उद्देश्य यह है कि हमारी समाज में महिलाएं और युवतियां इसे अवश्य पढ़ें और कुछ सीख लें।
– नीलमकांत.जीवमित्र