आज शुक्रवार 25 फरवरी को कुंडलपुर महापंचकल्याणक महामहोत्सव के बाद मंगल विहार की शुरुआत निर्यापक ज्येष्ठ, श्रेष्ठ श्रमण मुनिश्री समयसागर जी महाराज ससंघ ससंघ से हुई ।
उनके साथ 22 पिछियाँ चली और संभवत महाकौशल प्रांत की ओर यह विहार हुआ। यह पहली शुरुआत थी और कल से और उप संघों का विहार शुरू होने की संभावना है।
संत शिरोमणि आचार्यश्री विद्यासागर जी महामुनिराज के प्रथम दीक्षित शिष्य
निर्यापक मुनिश्री समयसागर जी
मुनिश्री प्रशस्तसागर जी
मुनिश्री मल्लिसागर जी
मुनिश्री आनंदसागर जी
मुनिश्री निर्ग्रन्थसागर जी
मुनिश्री निर्भ्रान्तसागर जी
मुनिश्री निरालससागर जी
मुनिश्री निराश्रवसागर जी
मुनिश्री निराकारसागर जी
मुनिश्री निश्चिन्तसागर जी
मुनिश्री निर्माणसागर जी
मुनिश्री निशंकसागर जी
मुनिश्री निर्लेपसागर जी
क्षुल्लक औचित्यसागर जी
क्षुल्लक गहनसागर जी
क्षुल्लक कैवल्यसागर जी
क्षुल्लक सुदृढ़सागर जी
क्षुल्लक समकितसागर जी
क्षुल्लक उचितसागर जी
क्षुल्लक अथाहसागर जी
क्षुल्लक उत्साहसागर जी
क्षुल्लक अमापसागर जी
(13 मुनिराज ,9 क्षुल्लक)
का मंगल विहार सिद्धक्षेत्र कुण्डलपुर से आज 25 फरवरी 2022, शुक्रवार को महाकौशल प्रान्त की ओर हुआ…..।