पहुंचे जैन हिन्दू संत, बालोतरा के जूना कोट मैदान , नफरत- झूठ फ़ैलाने वालो की निकल गई जान

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मुकनाराम और अनूप मंडल के सभी चमचे डरकर भाग गये !

अनूप मंडल की पोल खुली गई : चेलेंज देने वाला गायब हो गया !

ओजस्वी प्रवचनकार, जैनाचार्य श्री विमलसागरसुरिजी ने विवादित अनोप मंडल के हौंसले पहले ही पस्त कर दिए थे, लेकिन आज अनोप मंडल की उस फोर व्हीलर मोटर कार के चारों टायरों से हवा निकल चुकी है। यदि मुकनाराम और उसके सहयोगियों में पब्लिक के सामने वार्तालाप करने का दम नहीं था तो फिर जैनियों और सनातनियों को चुनौती क्यों दी ? क्यों उन्होंने बड़ी बड़ी डींगे हांकी ?

हे मुकनाराम ! चूकि तूझे राम में श्रद्धा नहीं है, अतः अपने नाम से इसे हटाकर केवल अब मुकना ही बन जा। अपने नाम के आगे संत लगाने का नैतिक अधिकार भी तूने आज खो दिया है।
आज 28 जून को निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार जैन समाज की ओर से लोकेश मुनि, विवेक मुनि और वैदिक परंपरा से दीपांकर स्वामी बालोतरा पहुंचे
.
• बालोतरा के चौक में, 36 कौम के सामने, अनूप मंडल के मुकनाराम के साथ आज खुली चर्चा होनी थी.
• लेकिन मुकनाराम और अनूप मंडल के सभी चमचे डरकर भाग गये .
• अनूप मंडल की पोल खुली : चेलेंज देने वाला गायब हो गया ! पुज्य आ.श्रीलोकेश मुनिजी, सनातन धर्म के आ.श्री दीपांकरजी के साथ अन्य धर्म के संत सब बालोतरा पधार गये. 28 जून तय था पर मुकनाराम माली ( अनूपमंडल ) के आये नही , संतो ने खुला चैलेंज दिया था.बालोतरा के चौक मे धर्म चर्चा हो सभी जातिवर्ग वाले.सुने सत्य क्या है

आज खुशखबर जरुर है, लेकिन, निजी तौर पर इसे मैं हमारी आंशिक विजय मानता हूं। जश्न मनाने लायक असली विजय तो तभी होगी, जब भारत के मानचित्र से इस अनोप मंडल का नामोनिशान ही बिल्कुल मिट जाएगा। इसके लिए अविलंब हमें अब कानूनी कार्यवाहियां शुरू कर देनी होगी। सुप्रीम कोर्ट तक भी इनके नुमाइंदों को छोड़ना नहीं है. ऐसा द्दढ संकल्प हमें आज और अभी
करना होगा।

मोहनलाल यु.जैन